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Saturday, May 29, 2021

COVID RT-PCR टेस्ट के सैंपल लेने का नया तरीका है बेहद आसान और सस्ता, सिर्फ 3 घंटे में पाएं रिजल्ट

Saline gargle covid test sample: कोरोना वायरस को लेकर वैज्ञानिक लगातार खोजबीन कर रहे हैं और रिसर्च में लगे हुए हैं। पिछले दिनों कोविड-19 टेस्ट की एक होम किट लॉन्च की गई थी जिससे महज 15 मिनट में ही आपको निगेटिव और पॉजिटिव का पता चल जाता है। इसी बीच कोविड से जुड़ा एक Saline gargle नाम का एक इन्ट्रुमेंट लॉन्च हुआ है जिसके जरिए कोरोना RT-PCR टेस्ट के लिए सैंपल लेने में काफी आसानी होगी। इसे आसान भाषा में हम सैंपल कलेक्शन ट्यूब कह सकते हैं। इस उपकरण का निर्माण नागपुर स्थित नेशनल एनवॉयरमेंटल इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट (NEERI) (National Environmental Engineering Research Institute) के वैज्ञानिकों ने CSIR के तहत किया है।वैज्ञानिकों द्वारा बनाया गया saline gargle स्वैब कलेक्शन और आरटी-पीसीआर टेस्ट के लिए एक आसान और फास्ट मेथड है। इस नए तरीके से बिना किसी स्पेशल ट्रेनिंग के हम और आप भी कोविड टेस्ट का सैंपल ले सकते हैं। आइए, जानते हैं कैसे काम करता है Saline gargle और क्या है इसकी खासियत...(फोटो साभार: istock by getty images)

Saline gargle covid test sample: कोरोना वायरस की दूसरी लहर में वैज्ञानिकों ने टेस्टिंग को लेकर कई तरह की आसान किट को लॉन्च किया है। पिछले साल तक कोविड टेस्ट की रिपोर्ट आने में लंबा समय लगता था लेकिन अब मिनट में ही आप निगटिव और पॉजिटिव का पता लगा लेते हैं। इसी बीच NEERI ने एक कोविड टेस्ट का सैंपल कलेक्शन ट्यूब लॉन्च किया है। जो काफी सस्ता और कंफर्टेबल है।


COVID RT-PCR टेस्ट के सैंपल लेने का नया तरीका है बेहद आसान और सस्ता, सिर्फ 3 घंटे में पाएं रिजल्ट

Saline gargle covid test sample: कोरोना वायरस को लेकर वैज्ञानिक लगातार खोजबीन कर रहे हैं और रिसर्च में लगे हुए हैं। पिछले दिनों कोविड-19 टेस्ट की एक होम किट लॉन्च की गई थी जिससे महज 15 मिनट में ही आपको निगेटिव और पॉजिटिव का पता चल जाता है। इसी बीच कोविड से जुड़ा एक Saline gargle नाम का एक इन्ट्रुमेंट लॉन्च हुआ है जिसके जरिए कोरोना RT-PCR टेस्ट के लिए सैंपल लेने में काफी आसानी होगी। इसे आसान भाषा में हम सैंपल कलेक्शन ट्यूब कह सकते हैं। इस उपकरण का निर्माण नागपुर स्थित नेशनल एनवॉयरमेंटल इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट (NEERI) (National Environmental Engineering Research Institute) के वैज्ञानिकों ने CSIR के तहत किया है।

वैज्ञानिकों द्वारा बनाया गया saline gargle स्वैब कलेक्शन और आरटी-पीसीआर टेस्ट के लिए एक आसान और फास्ट मेथड है। इस नए तरीके से बिना किसी स्पेशल ट्रेनिंग के हम और आप भी कोविड टेस्ट का सैंपल ले सकते हैं। आइए, जानते हैं कैसे काम करता है Saline gargle और क्या है इसकी खासियत...

(फोटो साभार: istock by getty images)



​कैसे काम करता है Saline gargle ट्यूब
​कैसे काम करता है Saline gargle ट्यूब

नीरी के नए तरीके के जरिए सबसे पहले रोगी को नमक के घोल से गरारे करवाए जाते हैं और फिर उसे Saline gargle यानी सैंपल वाले ट्यूब में थूकने को कहा जाता है। इसके बाद ट्यूब में कलेक्ट किए गए गरारे वाले सैंपल को प्रयोगशाला में ले जाया जाता है।

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RT-PCR टेस्ट की तुरंत होती है सैंपलिंग
RT-PCR टेस्ट की तुरंत होती है सैंपलिंग

नीरी के एनवॉयरमेंटर वॉयरोलॉजी सेल के सीनियर साइंटिस्ट कृष्णा खैरनार ने इस नए मेथड के बारे में जानकारी देते हुए कहा, स्वैब कलेक्शन के मौजूदा तरीके में समय लगता है और मरीजों को थोड़ी असुविधा भी होती है। कभी-कभी कलेक्शन सेंटर तक लाते-लाते सैंपल के बीच में ही खराब होने का खतरा भी रहता है।

लेकिन Saline Gargle के तरीके से कलेक्ट किया सैंपल RT-PCR टेस्ट का परिणाम फौरन ही दे सकता है और यह कंफर्टेबल भी है। इस तरीके से कोरोना टेस्ट करने में सैंपलिंग तुरंत होती है और रिजल्ट भी तीन घंटे के भीतर मिल जाता है। नागपुर नगर निगम ने सैंपलिंग के इस आसान तरीके को अपनाने की अनुमति दे दी है। वैज्ञानिक ने कहा कि तकनीक उन ग्रामीण क्षेत्रों के लिए विशेष रूप से फायदेमंद हो सकती है जहां बुनियादी ढांचे की कमी है।

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​इस तरह होती है सैंपल की जांच
​इस तरह होती है सैंपल की जांच

लैब में सैंपल को नीरी द्वारा तैयार एक स्पेशल बफर सॉल्यूशन में कमरे के तापमान पर रखा जाता है। इस सॉल्यूशन को गर्म करने पर एक आरएनए टेप्लेंट बनता है जिसका आरटी-पीसीआर (रिवर्स ट्रांसक्रिप्शन पॉलीनेरज चेन रिएक्शन) प्रॉसेस किया जाता है। इस प्रक्रिया में करीब तीन घंटे का समय लगता है और आपको अपना रिजल्ट के बारे में पता चल जाता है।

नीरी के मुताबिक, यह पूरी प्रक्रिया किफायती होने के साथ ही साथ इकोफ्रेंडली भी है, क्योंकि इसमें बहुत कम कचरा निकलता है।

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​Saline gargle के प्रयोग से मिलेंगे ये फायदे
​Saline gargle के प्रयोग से मिलेंगे ये फायदे

कोविड सैंपल कलेक्ट करने का यह मेथड दूसरे महंगे उपकरण की अपेक्षा काफी सस्ती और आसान भी है। क्योंकि इसके जरिए आम लोग खुद भी अपना सैंपल ले सकते हैं और टेस्टिंग सेंटर्स की भीड़भाड़ से बच सकते हैं। इसके साथ ही उनके बहुत सारे समय की भी बचत होगी और संक्रमण का खतरा भी कम होगा।



​ग्रामीण इलाकों में भी सक्षम है Saline gargle
​ग्रामीण इलाकों में भी सक्षम है Saline gargle

काउंसिल फॉर साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल (CSIR) (Council of Scientific and Industrial Research) ने इस कोविड टेस्ट के इस कलेक्शन ट्यूब को मंजूरी दे दी है और साथ ही ये भी आदेश दिए हैं कि इस नए मेथड के बारे में देश की दूसरी प्रयोगशालाओं में ट्रेनिंग दी जाए।

CSIR के अनुसार, Saline gargle के जरिए पेशेंटफ्रेंडली और कंफर्टेबल तरीके से टेस्ट की लागत भी कम आएगी और इसका इस्तेमाल गांवों और ट्राइबल इलाकों में भी किया जा सकता है। इस नए collection tube के जरिए ऐसी जगहों पर कम इंफ्रास्ट्रक्चर में भी कोरोना टेस्ट संभव हो सकेगा।

आपको बता दें कि नीरी के इस आसान तरीके के जरिए टेस्टिंग शुरू भी हो चुकी है।





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